लखनऊ: मड़ियांव थाना क्षेत्र में 15 अप्रैल को दो पुलिस कर्मियों व दो अन्य साथियों ने फर्जी STF बनकर लूट को अंजाम दिया था. पीड़िता ने घटना की शिकायत मड़ियांव पुलिस से की। पुलिस ने घटना का संज्ञान लेते हुए आरोपित की तलाश शुरू कर दी है। पुलिस ने कथित पत्रकार शिवांशु, लूट की घटना के साजिशकर्ता, मड़ियांव थाना कांस्टेबल के पद पर तैनात दो पुलिसकर्मियों को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं घटना में शामिल जगदीश उर्फ आकाश अभी फरार है.
दरअसल 12 अप्रैल की शाम को पीड़ित अतुल सिंह अपने चार पहिया सफारी वाहन में बिठौली चौराहे पर फार्म भरने आया था. इस दौरान आरोपियों ने वाहन को ओवरटेक कर उन्हें रोक लिया। कार में सवार दो पुलिस कर्मियों अनिल सिंह व सुधीर सिंह ने एसटीएफ बनकर प्रॉपर्टी डीलर अतुल सिंह के सिर पर पिस्टल लगाकर अपनी ही कार में बंधक बना लिया। इसके बाद पुलिस कर्मियों व फर्जी एसटीएफ के अन्य साथियों द्वारा पीड़ित अतुल सिंह को मड़ियांव थाने के अंदर लाया गया. वहीं ऑनलाइन योजना बनाकर पैसे ट्रांसफर करने के बाद रंगदारी मांगी गई। साथी आरोपितों ने प्रापर्टी डीलर के पास पड़े करीब 70 हजार नकद छीन लिए। पीड़िता ने बताया कि फर्जी एसटीएफ गैंग छोड़ने के बदले 50 लाख की रंगदारी की मांग करता था.
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STF प्राची सिंह ने बताया कि पुलिस टीम ने दो पुलिस कर्मियों अनिल सिंह, अतुल सिंह और कथित पत्रकार शिवांशु समेत तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ उचित कार्रवाई करते हुए उन्हें जेल भेज दिया गया है. पुलिस टीम आकाश उर्फ जगदीश की तलाश में है, जो फरार है।
बनारस के व्यापारी को भी बना चुके हैं शिकार
पूछताछ में आरोपियों ने वाराणसी के व्यापारी राजेंद्र सिंह से बड़ी नोट के बदले छोटी नोट देने के नाम पर ठगने की बात कुबूल की है। बताया कि 15 अगस्त को अपने एजेंट संतोष जायसवाल के जरिए वाराणसी निवासी राजेंद्र सिंह को बुलाया। उन्हें बड़ी के बदले 20 प्रतिशत छोटी नोट बदलने का झांसा दिया। जब राजेंद्र सिंह बताए गए स्थान पर आए तो इनके पास मात्र 32,000 रुपए थे। जिसे राशिद अपने साथियों के साथ छीनकर भाग गया। आरोपियों ने कानुपर जार्जमऊ क्षेत्र में भी 10 लाख व 5 लाख की ठगी-लूट की वारदात कुबूली है।