बिहार सरकार के खिलाफ वहां की राजधानी पटना में C TET और B TET पास शिक्षक अभ्यर्थियों का प्रदर्शन जारी है। डाकबंगला चौराहे पर अफरा-तफरी का माहौल बना हुआ है। प्रदर्शनकारी शिक्षक अभियार्थी अपनी मांगों को लेकर डटे हुए हैं। उनका कहना है कि सातवें चरण के शिक्षक नियोजन की विज्ञप्ति निकले बगैर वे वापस नहीं जाएंगे। पुलिस के पदाधिकारी और पटना सदर एसडीएम उन्हें समझाने में लगे हैं। इस दौरान चौराहे पर जाम लग गया है। इसमें बड़ी संख्या में गाड़ियां फंसी होने से ट्रैफिक जाम हो गया है। लोगों की परेशानी हो रही है,पर प्रदर्शनकारी शिक्षक अभियार्थी अपनी बात पर डटे हुए हैं। लगभग 5000 से ज्यादा शिक्षक अभियार्थी डाकबंगला चौराहे पर प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों का जत्था सचिवालय की ओर बढ़ रहा था जिसे इनकम टैक्स के पास रोक दिया गया। उसके बाद अभियार्थी डाकबंगला पर आकर सड़क पर बैठ गए। अभियर्थियों ने पटना में सीएम नीतीश कुमार की सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। इस प्रदर्शन में कई महिला अभियार्थी भी शामिल हैं। प्रदर्शनकारी शिक्षक अभियार्थी सातवें चरण की बहाली की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि राज्य के प्राथमिकऔर माध्यमिक स्कूलों के लिए अविलंब बहाली की विज्ञप्ति निकाला जाए। नीतीश सरकार के शिक्षा विभाग का तर्क है | अभी छठे चरण के नियोजन की प्रक्रिया पूरी नहीं हुई है। इस चरण के लगभग 53 हजार पद अभी खाली हैं। इस पर टीईटी पास अभ्यर्थियों का कहना है कि रिक्ति वाले विषय में रोस्टर के अनुसार आवेदक नहीं होने से यह रिक्ति बनी हुई है। इन 53 हजार पदों को सातवें चरण में सम्मिलित करके नई विज्ञप्ति प्रकाशित किया जाए। सरकार इस पर उन्हें आश्वासवन दे रही है पर कोई बहाली नहीं हो रही है।
टीईटी का आयोजन 8 साल बाद हुआ आयोजन
2019 में टीईटी पास कर चुके शिक्षक अभ्यर्थियों ने बताया कि टीईटी का आयोजन 8 साल बाद हुआ। नोटिफिकेशन 2019 में जारी किया गया। जनवरी 2020 में ऑफलाइन मोड में परीक्षा ली गई। मगर, कुछ परीक्षा केंद्रों पर फर्जीवाड़े की बात सामने आने पर उसे रद्द कर दिया गया। दोबारा इस परीक्षा का आयोजन सितंबर 2020 में किया गया। तब इसे ऑनलाइन मोड में किया गया | ये अभियार्थी 3 साल से नौकरी मिलने का इंतजार कर रहे हैं,लेकिन सरकार इन लोगों का नियोजन नहीं कर रही है। अभ्यर्थियों का कहना है कि इस मामले में शिक्षा मंत्री कोई जवाब नहीं दे रहे हैं। बात करने पर शिक्षा विभाग हमारी मांग को अनसुनी करती रही है। यही कारण है कि नई सरकार बनने के बाद आज से प्रदर्शन शुरू किया गया है। जब तक एसटीईटी उतीर्ण अभ्यर्थियों का नियोजन नहीं किया जाएगा, तब तक ऐसे ही प्रदर्शन जारी रहेगा।
टीईटी योग्यता प्रमाण पत्र की वैधता अवधि बढ़ाने का फैसला
अभी हाल के समय में केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने घोषणा की थी | सरकार ने शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) योग्यता प्रमाण पत्र की वैधता अवधि बढ़ाने का फैसला किया है। पहले इसकी वैधता सात साल के लिए थी लेकिन अब यह 2011 से पूर्वव्यापी प्रभाव से जीवन भर के लिए वैध होगी। केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ने कहा था कि शिक्षण क्षेत्र में करियर बनाने के इच्छुक उम्मीदवारों के लिए रोजगार के अवसर बढ़ाने की दिशा में यह एक सकारात्मक कदम होगा। इस बीच मौके पर तैनात एक पदाधिकारी ने एक प्रदर्शनकारी की लाठियों से पिटाई कर दी। उनके साथ सुरक्षा में तैनात सिपाहियों ने भी सड़क पर गिरे अभियार्थी को लाठी से पीटा। डाकबंगला चौराहे पर दंडाधिकारी के रूप मे तैनात एडीएम लॉ एंड ऑर्डर के के सिंह ने उस अभियार्थी की पिटाई की। एक साथी की पिटाई से प्रदर्शनकारी जब और ज्यादा उग्र होने लगे तो के के सिंह को वहां से डटा दिया गया। उनके जाने के बाद सदर एसडीएम डाकबंगला पहुंच गए हैं। इसी दौरान पप्पू यादव की पार्टी के कार्यकर्ता भी महंगाई को लेकर यहां पहुंच गए हैं। वाटर कैनन और वज्र वाहन के साथ पुलिस मौके पर पहुंची है। स्थिति को देखते हुए भारी संख्या में पुलिस बल की तैनाती की गई है।
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