अतीक-अशरफ मर्डर केस में एक और नया खुलासा हुआ है। सूत्रों के मुताबिक अतीक और अशरफ के हत्यारों का कनेक्शन लॉरेन्स बिश्नोई गैंग के साथ साथ अन्य कई बड़े गैंग से था। ये शूटर्स सुंदर भाटी गैंग के भी संपर्क में रहते थे। हमीरपुर जेल में सनी सिंह की मुलाकात सुंदर भाटी से हुई थी वहीं से दोनों के बीच कनेक्शन बना। वहीं से सनी को मेड इन तुर्की जिगाना पिस्टल मिली, इसी पिस्टल से सनी ने अतीक पर पहली गोली चलाई। बताया जा रहा है कि चार दिन पहले सनी सिंह ने अपने कुछ करीबी लोगों से कहा था कि वो कुछ ऐसा बड़ा करने वाला है जिससे सब लोग उसका नाम जान जाएंगे।
अतीक अहमद के काफिले को कर रहे थे फॉलो
सूत्रों के मुताबिक दूसरी बार साबरमती जेल से अतीक और बरेली जेल से अशरफ को लाने की खबर मीडिया में देखते ही, तीनों शूटर्स ने उनकी हत्या का प्लान बनाना शुरू कर दिया था। तीनों कई दिनों से अतीक अहमद और अशरफ की रेकी कर रहे थे। जिस वक्त अतीक अहमद को साबरमती जेल से प्रयागराज लाया जा रहा था। उस वक्त प्रयागराज से ठीक पहले मीडिया के काफिले के साथ उन्होंने अतीक को फॉलो किया था।
खबर ये है कि कोर्ट में पेशी के दौरान भी तीनों शूटर्स अतीक अहमद को फॉलो कर रहे थे। पुलिस जब दोनों को मेडिकल चेकअप के लिए लेकर निकली थी उस वक़्त भी तीनों शूटर्स उनके आस-पास थे। हत्यारे पत्रकारों के भेष में उन्हें फॉलो करते थे। वो गले में प्रेस का आईकार्ड, हाथ में माइक और कैमरा लेकर अतीक को फॉलो कर रहे थे। इनका मकसद दोनों की हत्या करके अपना खौफ कायम करना था। इस डबल मर्डर की प्लानिंग में इन तीनों के साथ कुछ और लोग भी शामिल थे। फिलहाल पुलिस ने पांच लोगों के खिलाफ FIR दर्ज की है जिसमें दो अज्ञात हैं।
अतीक अहमद से पहले सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड में इस्तेमाल हुई थी जिगाना पिस्टल
शूटर्स ने माफिया ब्रदर्स को मारने के लिए जिस गन का इस्तेमाल किया है वह अवैध तरीके से भारत आती है। इतना ही नहीं इस पिस्टल का सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड से भी कनेक्शन है। वहीं मर्डर केस की FIR से ये भी खुलासा हुआ है कि हमलावरों का एक साथी भी घायल हुआ है। अतीक और अशरफ पर जब हमलावर गोली चला रहे थे, तो वहां मौजूद उनके एक साथी को भी गोली लग गई।
मिट्टी में मिलाने वाले बयान की वजह से हुई हत्या’
बता दें कि अतीक-अशरफ के मर्डर के बाद सोशल मीडिया पर चल रहा है कि प्रयागराज के चकिया इलाके में टेंशन है। लोग घरों में कैद हैं, दुकानें बंद हैं। वहीं रामगोपाल यादव ने कहा है कि सीएम योगी के मिट्टी में मिलाने वाले बयान की वजह से अतीक और अशरफ की हत्या हुई है। योगी के करीबी अफसर माफिया से मिले हैं और वो अफसर साजिश में शामिल हैं। रामगोपाल यादव ने ये भी सवाल उठाया कि रात में मेडिकल चेकअप के लिए क्यों ले गए।
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