कर्नल सोफिया कुरैशी पर कैबिनेट मंत्री विजय शाह की विवादित टिप्पणी पर मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने एफआईआर दर्ज कराने का स्वत: संज्ञान लिया था। इस मामले में महाधिवक्ता ने अदालत को बताया कि हाईकोर्ट ने आदेश के पालन में विजय शाह के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा दी है। एफआईआर की कॉपी देखने के बाद सरकार के जवाब और एफआईआर की ड्राफ्टिंग पर हाईकोर्ट ने ऐतराज जताया है।
हाईकोर्ट ने सख्त लहजे में कहा कि एफआईआर इस तरीके से ड्राफ्ट की गई है। जिसमें अभियुक्त की करतूतों का ज़िक्र ही नहीं किया गया है। एफआईआर में लापरवाही को जाहिर करते हुए कोर्ट ने कहा कि अगर मामले को चुनौती दी गई, तो ये इस एफआईआर के दम पर ये आसानी से रद्द हो सकती है। ऐसे में हाईकोर्ट के कहने के बावजूद भी अदालत के विश्वास पर एफआईआर खरी नहीं उतरती है। हाईकोर्ट ने सरकार को आदेश एफआईआर में फिर से सुधार किया जाए। बिना किसी हस्तक्षेप और दबाव के एफआईआर और जांच आगे बढ़े। वेकेशन के बाद टॉप ऑफ़ द लिस्ट में मामले पर सुनवाई होगी।
राहत के लिए खटखटाया सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा
अब इस मामले में मध्य प्रदेश के मंत्री कुंवर विजय शाह ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर हाईकोर्ट के 14 मई 2025 के आदेश को चुनौती दी है, जिस पर उन्हें सुप्रीम कोर्ट से भी फटकार मिली। सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के आदेश पर रोक लगाने से मना कर दिया है। चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने विजय शाह को खरी-खरी सुनाते हुए कहा कि उच्च पदों पर बैठे लोगों से इस तरह की बयानबाजी की उम्मीद नहीं की जा सकती है। इस तरह की बयानबाजी का ये बिल्कुल भी समय नहीं है। खासतौर पर जब देश ऐसे समय से गुजर रहा है। अब इस मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में कल होनी है।
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मंत्री विजय शाह ने मांगी माफी
कैबिनेट मंत्री ने एक वीडियो जारी करके आज माफी मांगी है। उन्होंने कहा कि अगर उसकी वजह से किसी भी समाज की भावना आहत हुई है, तो इसके लिए मैं दिल से न सिर्फ शर्मिंदा हूं बल्कि बेहद दुखी भी हूं और सभी से माफी चाहता हूं। उन्होंने सोफिया कुरैशी को लेकर आगे कहा हमारे देश की वो बहन सोफिया कुरैशी जिन्होंने राष्ट्र धर्म निभाते हुए जाति और समाज से ऊपर उठकर जो काम किया है। उन्हें हमारी सगी बहन से भी ऊपर सम्मानित मानता हूं। उनके इस बयान के बात इस्तीफे की मांग भी बढ़ गई है।
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