लोकसभा 2024 को लेकर भाजपा ने लिस्ट जारी कर दी और प्रत्याशी चुनाव प्रचार में जुटे है। उत्तर प्रदेश की बात करें तो मेनका गांधी को बीजेपी ने सुल्तानपुर से टिकट दिया। वहीँ उनके बेटे वरुण गांधी का टिकट पीलीभीत से काट दिया। पीलीभीत से जितिन प्रसाद को लोकसभा प्रत्याशी बनाया गया है।
मेनका गांधी क्या बोलीं
मेनका गांधी प्रचार में लगी हुई है और इस दौरान उन्होंने मीडिया कर्मियों से कई मामलों पर बात की। उन्होंने कहा कि , ” मुझे वरुण पर गर्व है. उन्होंने पीलीभीत का बहुत अच्छे से ख़्याल रखा। इसीलिए जब वरुण को पीलीभीत छोड़ना पड़ा, तो बहुत लोग रोये. मुझे पूरी उम्मीद है कि वरुण आगे भी देश के लिए अच्छा करेगा। ”
जनता के नाम वरुण गाँधी का पत्र
पीलीभीत से टिकट कट जाने के बाद वरुण गांधी ने एलान किया था कि इस बार वह चुनाव नहीं लड़ेंगे। साथ ही उन्होंने जनता के नाम पत्र लिखा था , जिसमें उन्होंने खुद को पीलीभीत का बेटा बताया। वरुण लिखा कि पीलीभीत के लोगों के साथ उनका रिश्ता राजनीति से परे है , वह लोगों की सेवा के लिए कोई भी कीमत चुकाने को तैयार है।
कांग्रेस पार्टी से भी मिला न्योता
वरुण गांधी फिलहाल उत्तर प्रदेश की पीलीभीत लोकसभा सीट से भाजपा के सांसद हैं। 24 मार्च को BJP ने पांचवी लिस्ट जारी की जिसमें 111 उम्मीदवारों के नामों का एलान हुआ था। जिसमें पीलीभीत से वरुण गांधी की जगह जितिन प्रसाद का नाम शामिल था। बता दें , कांग्रेस ने वरुण गांधी को उनकी पार्टी में आने का न्योता दिया था। अधीर रंजन चौधरी ने कहा था कि , वरुण को कांग्रेस में शामिल होना चाहिए। अगर वो कांग्रेस में आते हैं, तो हमें खुशी होगी। इसके बाद वरुण गांधी की टीम ने बताया था कि वो लोकसभा का चुनाव नहीं लड़ेंगे। अपनी मां मेनका गांधी के लिए सुल्तानपुर में चुनाव प्रचार पर करेंगे।
उपराष्ट्रपति और सभापति जगदीप धनखड़ ने गुरुवार को कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव समेत 14 नेताओं को राज्यसभा सांसद के रूप में शपथ दिलाई। नवनिर्वाचित सांसदों ने नए संसद भवन में शपथ ग्रहण लिया। शपथ ग्रहण समारोह का संचालन उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने किया।
इन नेताओं ने ली राज्यसभा सांसद की शपथ
कांग्रेस पार्टी
राजस्थान से सोनिया गांधी
कर्नाटक से अजय माकन
भाजपा
ओडिशा से अश्विनी वैष्णव
उत्तर प्रदेश से आरपीएन सिंह
पश्चिम बंगाल से समिक भट्टाचार्य
राजस्थान से मदन राठौड़
सोनिया गाँधी पहली बार राजस्थान से राज्यसभा सांसद बनी है। सोनिया गांधी ने 2019 में घोषणा की थी कि यह उनका आखिरी लोकसभा चुनाव होगा। बताते चले कि ,1999 में सोनिया गाँधी ने कांग्रेस अध्यक्ष बनने के बाद पहली बार अमेठी से चुनाव लड़ा था और जीत हासिल की थी। उसके बाद 2004 में वह पहली बार रायबरेली से चुनाव लड़ीं और जीतीं। सोनिया गांधी पांच बार सांसद चुनी गईं। रायबरेली के साथ दशकों के पारिवारिक संबंधों को छोड़कर जब सोनिया ने राज्यसभा जाने का फैसला किया तो वो काफी भावुक नजर आई थीं।
IPL 2024 का जोश हर तरफ बना हुआ है। इस बीच मुंबई इंडियंस के कप्तान हार्दिक पंड्या काफी ट्रोल हुए और अटकले चालू हो गई है कि क्या हिटमैन की कप्तानी में MI (मुंबई इंडियंस) की टीम फिर मैदान में उतरेगी । मुंबई इंडियंस की टीम के लगातार तीन मैच हार चुकी है जिसने इन अटकलों को ज़ोर दे दिया हैं। रोहित शर्मा (हिटमैन ) की कप्तानी में MI ने 5 बार IPL की ट्रॉफी अपने नाम की है । वहीं दूसरी ओर IPL 2024 में लगातार 3 मैच हारने के बाद MI के नए कप्तान को सोशल मीडिया पर जमकर आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है।
मुंबई इंडियंस के नाम है 5 IPL-ट्रॉफी
हिटमैन के नाम से पहचान बनाने वाले रोहित शर्मा 2013 से 2023 तक MI के कप्तान रहे। रोहित की कप्तानी में MI टीम ने 5 बार IPL की ट्राफी अपने नाम की थी। अबतक टीम की स्तिथि को देखते हुए मुबंई इंडियंस मैनेजमेंट ने रोहित शर्मा से दोबारा कप्तानी टेकओवर करने के लिए रिक्वेस्ट की है। लेकिन हिटमैन ने इंनकार कर दिया है। रोहित शर्मा ने कहा कि ,” मैं IPL करियर में कभी दोबारा MI की कप्तानी नहीं करूगां ।” इसकी पुष्टि हम नहीं करते यह खब़र स्पॉर्ट्ज विकी के हवाले से आई है। IPL – 2024 के शुरू होने से ठीक पहले ही मुबंई इंडियंस मैनेजमेंट ने रोहित शर्मा को हटाकर हार्दिक पांड्या को नया कप्तान घोषित कर दिया था ।
क्या रोहित शर्मा संभालेगे MI की भागदोड़
MI (मुंबई इंडियंस) के नए कप्तान हार्दिक पंड्या लगातार सोशल – मीडिया पर ट्रोल हो रहे हैं,लगातार उनकी आलोचनाएं हो रही है। मुंबई इंडियंस ने 2024 में 3 मैच खेले और तीनों हार गई। इस दौरान स्टेडियम में मौजूद दर्शक हार्दिक के खिलाफ हूटिंग की है। टीम की हार को देखते हुए मुंबई इंडियंस मैंनेजमेंट फिर से रोहित शर्मा को कप्तानी देना चाहती है।
दिल्ली में मचे सियासी हड़कंप के बीच बड़ी खबर सामने आई है। आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिह को जमानत मिल गई है। उन्हें सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिली है। बड़ी खबर ये भी है कि ईडी ने संजय सिंह की जमानत का विरोध नहीं किया है। यानी ईडी की सहमति के बाद ही संजय सिंह को सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिली है। ईडी ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि उसे दिल्ली शराब नीति मामले में आप नेता संजय सिंह को जमानत देने पर कोई आपत्ति नहीं है। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने संजय सिंह को जमानत दी।
सोमनाथ भारती का बयान आया सामने
आम आदमी पार्टी नेता सोमनाथ भारती ने कहा कि आज ईडी ने मान लिया है कि उनके पास संजय सिंह के खिलाफ कोई सबूत नहीं है। उच्चतम न्यायालय का धन्यवाद करता हूं कि आज सच जीता है और झूठ हारा है। परमात्मा कुछ ना कुछ प्लानिंग करता है। हमारे नेताओं को जेल में डालकर भाजपा ने चुनाव को प्रभावित करने का काम किया।
कब हुए थे गिरफ्तार संजय सिंह ?
संजय सिंह को बीते साल चार अक्टूबर को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गिरफ्तार किया था। ईडी ने पहले अदालत से कहा था कि संजय सिंह दिल्ली की आबकारी नीति 2021-22 में शराब (कंपनी) समूहों से रिश्वत प्राप्त करने की साजिश का हिस्सा थे। दिल्ली की आबकारी नीति अगस्त, 2022 में निरस्त कर दी गई थी और दिल्ली के उपराज्यपाल ने बाद में सीबीआई को कथित अनियमितताओं और भ्रष्टाचार की जांच का आदेश दिया था। संजय सिंह को शराब घोटाले से जुड़े धनशोधन मामले में गिरफ्तार किया गया था और ईडी के वकील ने अदालत में कहा था कि संजय सिंह 2021-22 में आई दिल्ली शराब नीति से संबंधित घोटाले से हुई अपराध की आय को रखने, छिपाने, उपयोग करने और लेन-देन में शामिल रहे हैं।
आतिशी ने बीजेपी पर लगाए गंभीर आरोप
दिल्ली सरकार में मंत्री और आप नेता आतिशी ने बड़ा खुलासा करते हुए उन्होंने कहा कि उन पर बीजेपी को ज्वाइन करने का प्रेशर बनाया गया। अगर उन्होंने बीजेपी ज्वाइन नहीं की तो ईडी उन्हें गिरफ्तार कर लेगी। आतिशी ने कहा था कि चुनाव से पहले आप के 4 नेताओं को गिरफ्तार करने की तैयारी चल रही है। आतिशी ने बताया था कि मुझे, सौरभ भारद्वाज, राघव चड्ढा, दुर्गेश पाठक को जेल में डालने की तैयारी हो रही है। आतिशी ने कहा कि बीजेपी में शामिल ना होने पर मुझे गिरफ्तारी की धमकी दी गई है। लेकिन आम आदमी पार्टी इन धमकियों से डरने वाली नहीं है।
माफिया मुख्तार अंसारी की मौत के बाद उत्तर प्रदेश में अलर्ट जारी कर दिया गया है। पूरे प्रदेश में धारा 144 लागू करने के साथ ही पुलिस और प्रशासन भी अलर्ट है। वहीं, गाजीपुर से मुख्तार का परिवार बांदा के लिए रवाना हो चुका है। वहीं, लखनऊ में मुख्यमंत्री आवास पर पुलिस के आला-अधिकारियों के साथ बड़ी बैठक जारी है।
गाजीपुर में स्तिथ आवास पर मुख्तार के बांदा मेडिकल कॉलेज में भर्ती होते ही समर्थक पहुंचने लगे थे। वहीं, मुख्तार अंसारी की हार्ट अटैक से मौत की सूचना मिलने के बाद ही मऊ पुलिस हरकत में आ गई और जिले के सारे संवेदनशील जगहों पर फोर्स व बीएसएफ के जवानों को सड़कों पर उतार दिया गया है। इसकी कमान खुद जिले के कप्तान इलमारन व जिलाधिकारी प्रवीण मिश्रा ने संभाली है।
दो दशक तक रहा मुख्तार अंसारी का दबदबा
मुख्तार अंसारी मऊ सदर विधानसभा से कई बार विधायक रहा है। 2022 विधानसभा चुनाव में विरासत में इस सीट को अपने बड़े बेटे अब्बास अंसारी के लिए छोड़ दिया और अब्बास अंसारी मऊ सदर विधानसभा से विधायक हैं। पूर्वांचल की कई सीटों पर मुख्तार अंसारी का दबदबा लगभग दो दशक तक कायम रहा है। मौत की सूचना के बाद जिला प्रशासन अलर्ट मूड में आ गया, जिले के सारे संवेदनशील जगह पर भारी फोर्स बल सड़क पर उतार दिया है।
मुख़्तार के बड़े भाई अफजाल और शिवगत उल्ला अंसारी देर रात बांदा पहुंच गए। वीडियो कैमरे की निगरानी में पोस्टमार्टम होगा। पोस्टमार्टम के बाद मुख्तार का शव परिवार को सौंपा जाएगा। अंसारी परिवार के क़ब्रों के बीच मुख़्तार को दफ़नाया जाएगा।
उत्तर प्रदेश के माफिया मुख़्तार अंसारी की गुरुवार रात मौत हो गई। बांदा जेल में बंद अंसारी की जेल में तबियत ख़राब होने के कारण बांदा मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। सूत्रों के मुताबिक , जेल में दिल का दौरा पड़ने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
मुख़्तार अंसारी की मौत के बाद गाजीपुर में उनके घर के बाहर बड़ी तादाद में भीड़ जमा हो गई। इसे देखते हुए बांदा , गाजीपुर समेत कई जिलों में अलर्ट जारी किया गया। अंसारी के निधन के बाद बांदा मेडिकल कॉलेज ने मेडिकल रिपोर्ट जारी किया। जिसके मुताबिक, आज शाम लगभग साढे़ आठ बजे मुख्तार अंसारी को बेहोशी की हालत में जेल कर्मी ने रानी दुर्गावती मेडिकल कॉलेज लेके पहुंचे। उल्टी की शिकायत की गई थी। अस्पताल में 9 डॉक्टरों की टीम ने तुरंत मेडिकल सुविधा उपलब्ध कराई। लेकिन तमाम कोशिशों के बावजूद दिल का दौरा पड़ने से उनका निधन हो गया।
मौत की वजह …. स्लो पॉइज़न या नेचुरल डेथ
मुख़्तार अंसारी का परिवार और खुद मुख़्तार अंसारी ने पहले दावा किया था की उन्हें स्लो पॉइज़न दिया जा रहा है। ये साफ कहा गया था की उनके खाने में जहरीला पदार्थ दिया जा रहा है। जिसे जेल प्रसाशन ने ख़ारिज कर दिया था। आपको बता दें, इससे पहले 26 मार्च को तबियत बिगड़ने के कारण मुख़्तार अंसारी को अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
उस वक़्त मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ सुनील कौशल ने बताया था कि , उन्हें पेट दर्द, पेशाब और मल त्यागने में समस्या थी। मुख्तार के भाई और बसपा सांसद अफजाल अंसारी ने एक न्यूज़ एजेंसी को बताया था कि , उनके खाने में जहरीला पदार्थ मिलाया गया। अफजाल ने कहा था, “मुख्तार ने मुझे बताया कि करीब 40 दिन पहले भी उसे जहर दिया गया था और अभी हाल में शायद 19 या 22 मार्च को फिर दिया गया है, जिसके बाद से उसकी हालत खराब है। ”
मुख़्तार अंसारी का 25 साल का विधायक कार्यकाल
उत्तर प्रदेश के माफ़ीया मुख्तार अंसारी की 60 साल की उम्र में मृत्यु हो गई। बताते चले कि , यूपी में मुख्तार अंसारी के खिलाफ 60 से अधिक केस दर्ज थे। अंसारी राजनीती में भी लम्बे समय तक पद पर रहे। वह मऊ से पांच बार विधायक रहे। अंसारी 16 साल से ज्यादा समय से जेल में थे। साल 2022 में उन्हें पहली बार दो मामलों में दोषी बनाया गया था। इस साल 12 मार्च को वाराणसी की एक विशेष MP/MLA कोर्ट ने उन्हें एक 34 साल पुराने केस में उम्रकैद की सजा सुनाई थी।
शराब घोटाले में दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की ईडी रिमांड एक अप्रैल तक बढ़ा दी गई है। ये फैसला दिल्ली की राउज एवेन्यु कोर्ट ने दिया है। केंद्रीय जांच एजेंसी ने केजरीवाल की 7 दिन की और रिमांड मांगी थी। ईडी का कहना है कि मुख्यमंत्री केजरीवाल जांच में सहयोग नहीं कर रहे हैं। आपको बता दें कि शराब घोटाले में ईडी ने 21 मार्च को केजरीवाल को गिरफ्तार किया था जिसके बाद 22 मार्च को उन्हें अदालत में पेश किया गया था। पिछली बार ईडी ने अदालत से केजरीवाल की 10 दिन की रिमांड मांगी थी लेकिन कोर्ट ने 6 दिन की रिमांड पर भेजा था। इस बार ईडी ने 7 दिन की रिमांड मांगा है। इस बीच सीएम केजरीवाल ने कोर्ट में कहा कि ‘‘यह एक राजनीतिक साजिश है। जनता जवाब देगी।
पत्नी और बेटा थे मौजूद
बता दें कि राउज एवेन्यू कोर्ट में सुनवाई के दौरान दिल्ली सरकार के मंत्रियों के अलावा अरविंद केजरीवाल का परिवार भी कोर्ट रूम में मौजूद था। दिल्ली के मुख्यमंत्री की कोर्ट में पेशी के दौरान केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल और उनका बेटा मौजूद था। इसके साथ ही आम आदमी पार्टी सरकार के दो मंत्री आतिशी और स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज भी मौजूद रहे।
आईये जाने सीएम अरविन्द केजरीवाल ने क्या कहा ?
>> मुख्यमंत्री केजरीवाल ने अदालत में आबकारी नीति मामले में सुनवाई के दौरान खुद दलील पेश कीं। केजरीवाल ने अदालत में कहा, आबकारी नीति मामले में चार गवाहों ने मेरा नाम लिया, क्या किसी मुख्यमंत्री को गिरफ्तार करने के लिए चार बयान पर्याप्त हैं। देश के सामने आम आदमी पार्टी के भ्रष्ट होने की झूठी तस्वीर पेश की जा रही है। उन्होंने कहा, मैं ईडी की जांच का सामना करने को तैयार हूं।
>> उन्होंने कहा कि वह ईडी के अधिकारियों और कर्मचारियों को धन्यवाद देना चाहते हैं, जिन्होंने अभी तक जांच में सहयोग किया। उन्होंने आगे कहा, मुझे किसी भी अदालत ने दोषी नहीं पाया है। ईडी और सीबीआई ने हजारों पन्नों की रिपोर्ट लगाई है। मैं ईडी का धन्यवाद देना चाहता हूं। ये केस दो साल से चल रहा है। आप सभी कागजों को पढ़ेंगे तो पूछेंगे कि आखिर मुझे गिरफ्तार क्यों किया गया ? 22 अगस्त 2022 को ईडी ने ECIR दर्ज किया, मुझको गिरफ्तार किया गया है। मुझपर किसी कोर्ट में दोषी नहीं ठहराया गया है। ईडी अब तक 31 हजार पेज के दस्तावेज जमा कर चुकी है और मेरा सिर्फ 4 बयान में जिक्र आता है।
>> सीएम केजरीवाल ने कहा कि सिसोदिया की मौजूदगी में कुछ दस्तावेज़ दिए गए है। मेरे घर पर एमएलए (MLA) और बहुत से लोग आते है। मुझको क्या पता कि वह क्या खुसर-पुसर करते हैं। क्या सिर्फ यह बयान मुझको गिरफ्तार करने के लिए काफी है। इसके बाद जब कोर्ट ने पूछा कि ये सब आप लिखित में क्यों नहीं दे रहे तो मुख्यमंत्री केजरीवाल ने कहा कि मैं कोर्ट में बोलना चाहता हूं। जिसके बाद अपनी बात जारी रखते हुए दिल्ली के सीएम ने कहा, मुझको बस 5 मिनट दे दिए मैं लिखित में भी बयान कोर्ट को दूंगा।
डी के दबाव में लोग बन रहे गवाह – सीएम केजरीवाल
ईडी के दबाव में लोग गवाह बन रहे हैं और बयान बदल रहे हैं। सिर्फ 4 बयानों के आधार पर एक सीएम को गिरफ्तार कर लिया जाएगा जबकि ईडी के पास मेरी बेगुनाही बताने वाली हजारों पन्ने ईडी के पास मौजूद हैं। अगर 100 करोड़ का घोटाला है तो घोटाले का पैसा कहां गया ? दरअसल घोटाला तो ईडी की जांच के बाद शुरू होता है।
दिल्ली शराब घोटाला मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ईडी की हिरासत में हैं। आम आदमी पार्टी के दावा है कि केजरीवाल सीएम पद नहीं छोडे़ंगे और जेल से ही सरकार चलाएंगे। इस बीच अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल ने आज बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया है। बता दें कि सुनीता, अरविंद केजरीवाल से मिलने ईडी के ऑफिस भी गई थीं। आइए जानते हैं उन्होंने आज क्या कहा है।
घोटाले के पैसों का करेंगे खुलासा
सुनीता केजरीवाल ने कहा कि ईडी शराब घोटाले का पैसा ढूंढ रही है लेकिन एक भी पैसा नहीं मिला। इन पैसों के लिए सिसोदिया समेत विभिन्न नेताओं के घर रेड हुई। केजरीवाल के घर पर भी रेड की गई। अब सुनीता केजरीवाल ने दावा किया है कि अरविंद दिल्ली शराब घोटाले के पैसों का खुलासा 28 मार्च को कोर्ट में करेंगे। ये जानकारी खुद अरविंद केजरीवाल ने अपनी पत्नी को दी है।
हिरासत से निर्देश दे रहे सीएम केजरीवाल
दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी ने कहा था कि सीएम केजरीवाल ने उन्हें ईडी की हिरासत से निर्देश भेजा है। आतिशी ने कहा था कि केजरीवाल ने ईडी की कस्टडी में रहने के बावजूद निर्देश भेजे हैं। जिसमें कहा गया है कि दिल्लीवालों को पानी की कमी नहीं होनी चाहिए। वहीं, मंगलवार को सौरभ भारद्वाज ने कहा कि उन्हें केजरीवाल ने जेल से निर्देश देते हुए दिल्ली की स्वास्थ्य व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए कहा है।
अरविन्द केजरीवाल को डायबिटीज है- सुनीता केजरीवाल
वही सुनीता केजरीवाल ने कहा है कि मंगलवार की शाम वह अरविंद केजरीवाल से मिलने गई थीं। केजरीवाल को डायबिटीज है और उनका शुगर लेवल ठीक नहीं चल रहा है। उन्होंने कहा कि बीते 2 साल में ईडी ने 250 से ज्यादा रेड की है। वो पैसा ढूंढ़ रहे हैं लेकिन अभी तक एक पैसा नहीं मिला। हमारे घर रेड में मात्र 70 हजार रुपये मिले। सीएम केजरीवाल देश को बताएंगे की ये पैसा कहां है और इसका सबूत भी देंगे।
दिल्ली सरकार की सारी वेलफेयर स्कीम चलती रहेंगी। सीएम अरविंद केजरीवाल के आदेश के बाद इस संबंध में प्लानिंग सेक्रेटरी निहारिका राय ने एक ऑर्डर जारी किया है। प्लानिंग सेक्रेटरी ने एक नोट जारी कर कहा, “कुछ लोग दिल्ली सरकार की ओर से दी जाने वाली कल्याणकारी योजनाओं और सब्सिडी को लेकर अफवाहें फैला रहे हैं। मैं पूरी तरह से स्पष्ट करती हूं कि सरकार की सभी वेलफेयर स्कीम लागू रहेंगी।” साथ ही दिल्ली सरकार ने लोगों से दुर्भावनापूर्ण सूचनाओं के झांसे में न आने का आग्रह किया और उनसे “अफवाह फैलाने वालों” से दूर रहने को कहा कहा है।
मोहल्ला क्लीनिकों के कामकाज पर जारी किया आदेश
बता दें कि सीएम अरविंद केजरीवाल ने रविवार को ईडी हिरासत से अपना पहला आदेश जारी किया था। इसे लेकर चल रहे विवाद के बीच सीएम केजरीवाल ने एक और नया आदेश जारी किया। सीएम ने नया आदेश, आम आदमी पार्टी के प्रमुख मोहल्ला क्लीनिकों के सुचारू संचालन के लिए स्वास्थ्य विभाग को जारी किया है। आप के सूत्रों ने पुष्टि की कि निर्देश स्वास्थ्य विभाग से संबंधित है और इसे मुख्यमंत्री ने मंत्री सौरभ भारद्वाज को भेजा है। सौरभ भारद्वाज स्वास्थ्य विभाग संभालते हैं।
अस्पतालों और मोहल्ला क्लीनिक को लेकर सीएम केजरीवाल चिंतित
सीएम केजरीवाल के निर्देश पर प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए स्वास्थ्य मंत्री भारद्वाज ने कहा, ”कई अस्पतालों और मोहल्ला क्लीनिक में दवाओं की उपलब्धता और मुफ्त जांच न होने को लेकर सीएम चिंतित हैं।” भारद्वाज ने कहा कि सीएम केजरीवाल चाहते हैं कि किसी को भी परेशानी नहीं होनी चाहिए, भले ही वह ईडी की हिरासत में हों। उन्होंने कहा, ”उन्होंने मुझे यह सुनिश्चित करने के लिए तत्काल और जरूरी कार्रवाई करने का आदेश दिया कि दवाएं और जांच दोनों मुफ्त हों और अस्पतालों एवं मोहल्ला क्लीनिक में मौजूद हों।”
सीएम केजरीवाल ने आतिशी को दिया था निर्देश
इससे पहले रविवार को सीएम केजरीवाल ने ईडी की हिरासत में रहते हुए पहला आदेश जारी किया था। सीएम केजरीवाल ने अपने इस आदेश में जल मंत्री आतिशी को दिल्ली में पानी और सीवेज की समस्याओं के समाधान का निर्देश दिया था। इस बीच ईडी हिरासत से सीएम केजरीवाल की ओर से जारी निर्देशों पर प्रामाणिकता का मुद्दा मंडराने पर कानूनी विशेषज्ञों ने कहा, ”अदालत ने सीएम को आदेश जारी करने की कोई इजाजत नहीं दी है।
” सुप्रीम कोर्ट के वकील विनीत जिंदल ने कहा, ”आम आदमी पार्टी अरविंद केजरीवाल के नाम पर ये आदेश जारी कर रही है। ईडी की रिमांड के कारण अदालत ने सीएम को कोई भी आदेश जारी करने की अनुमति नहीं दी है।” उन्होंने कहा, ”ये आदेश किसी काम के लिए नहीं बल्कि राजनीतिक फायदे के लिए जारी किए जा रहे हैं, जो कानूनी तौर पर गलत हैं।” उन्होंने आरोप लगाया, ”अरविंद केजरीवाल अपनी परेशानी को बढ़ा-चढ़ाकर बता रहे हैं ताकि जब कार्रवाई हो तो भाजपा पर आरोप लगाए जा सके।”
भाजपा ने की जांच और कार्रवाई की मांग
उधर, भाजपा के राष्ट्रीय सचिव मनजिंदर सिंह सिरसा ने ईडी की हिरासत से दिल्ली सीएम केजरीवाल द्वारा जारी किए आदेश को अवैध एवं असंवैधानिक बताते हुए जांच और कार्रवाई की मांग की है।
लोकसभा चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा ) कभी भी अपनी अगली यानी कि पांचवीं लिस्ट जारी कर सकती है। इस लिस्ट में यूपी-बिहार के उम्मीदवारों के नामों का भी ऐलान हो सकता है। यूपी में भाजपा को 24 सीटों पर कैंडिडेट घोषित करने हैं, अपनी पहली लिस्ट में बीजेपी यूपी के 51 कैंडिडेट्स के नामों की घोषणा कर चुकी है। वहीं अब तक कुल चार लिस्ट जारी की जा चुकी हैं।
यूपी-बिहार जैसे राज्यों के अलावा कई अन्य राज्यों के भी उम्मीदवार घोषित किए जा सकते हैं। दिल्ली दफ्तर में भाजपा के केंद्रीय चुनाव समिति की अहम बैठक हुई। इसमें पीएम नरेंद्र मोदी, भाजपा प्रमुख जेपी नड्डा समेत अन्य दिग्गज नेता मौजूद रहे। बता दें कि आगामी लोकसभा चुनाव सात चरणों में होगा, जिसकी शुरुआत 19 अप्रैल के मतदान के साथ होगी और फिर एक जून को सातवें फेज की वोटिंग होगी। नतीजों का ऐलान चार जून को किया जाएगा।
कट सकता है वरुण गांधी का टिकट
भाजपा की लिस्ट में सबकी नजरें यूपी के उम्मीदवारों पर रहने वाली हैं। माना जा रहा है कि आज ज्यादातर बची हुईं सीटों पर कैंडिडेट घोषित कर दिए जाएंगे। यूपी में पहले फेज में कुल आठ सीटों पर वोटिंग होनी है, जिसमें सहारनपुर, कैराना, मुजफ्फरनगर, रामपुर, पीलीभीत, मुरादाबाद, नगीना, बिजनौर सीटें शामिल हैं। सूत्रों की मानें तो पीलीभीत से बीजेपी सांसद वरुण गांधी का टिकट काटा जा सकता है। उनकी जगह यूपी सरकार में मंत्री जितिन प्रसाद उम्मीदवार बन सकते हैं।
लोकसभा उम्मीदवारों की घोषणा भाजपा संसदीय बोर्ड करेगा
हीं, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक नेता ने रविवार को यहां कहा कि जम्मू-कश्मीर की तीन लोकसभा सीट के लिए उम्मीदवारों की घोषणा पार्टी का संसदीय बोर्ड करेगा। भाजपा महासचिव (जम्मू-कश्मीर) अशोक कौल ने संवाददाताओं से कहा, ”उम्मीदवारों पर निर्णय संसदीय बोर्ड द्वारा लिया जाता है जिसकी अध्यक्षता प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी करते हैं। कश्मीर में चुनाव बाद के चरणों में होने हैं इसलिए हमारे पास उम्मीदवारों की घोषणा करने के लिए अब भी समय है।
अब तक पार्टी ने केवल लगभग 250 निर्वाचन क्षेत्रों के लिए उम्मीदवारों की घोषणा की है।” यह पूछे जाने पर कि क्या भाजपा कश्मीर में बनने वाले गठबंधन को समर्थन देने पर विचार कर रही है, कौल ने कहा कि भाजपा घाटी की सभी तीन सीट पर अपने उम्मीदवार उतारेगी। उन्होंने कहा, ”हम तीनों सीट पर अपने उम्मीदवार उतारेंगे और हम किसी गठबंधन का समर्थन नहीं कर रहे हैं। जो गठबंधन बन रहा है या बनने वाला है, यह उनकी सोच है। देश में बहुत सारे गठबंधन बने हैं, हम किसी को रोक नहीं सकते।
भाजपा में अब तक 291 उम्मीदवारों का हुआ है ऐलान
बीजेपी सीईसी पूर्व में दो बार बैठक कर चुकी है और अब तक 291 लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवारों के नाम घोषित कर चुकी है। इन बैठकों में उत्तर प्रदेश, गुजरात, पश्चिम बंगाल, झारखंड, राजस्थान, हरियाणा, कर्नाटक, तमिलनाडु, उत्तराखंड, केरल और तेलंगाना समेत अन्य राज्यों की सीटों पर निर्णय लिया गया। भाजपा ने अभी तक इनमें से कुछ राज्यों में कई सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा नहीं की है।
भोजपुरी गायक पवन सिंह सहित घोषित उम्मीदवारों में से कम से कम तीन ने अपने नाम पर कुछ न कुछ विवाद होने के बाद अपना नाम वापस ले लिया। चुनाव के लिए मोदी, शाह, राजनाथ सिंह और नितिन गडकरी सहित पार्टी के प्रमुख चेहरों के नामों की घोषणा पहले ही की जा चुकी है और वे सभी अपने मौजूदा निर्वाचन क्षेत्रों से चुनाव लड़ रहे हैं। लोकसभा की 543 सीटों के लिए 19 अप्रैल से एक जून के बीच सात चरण का चुनाव होना है।
लोकसभा चुनाव के मद्देनजर बहुजन समाज पार्टी यानी बसपा ने अपनी पहली लिस्ट को जारी कर दिया है। इस लिस्ट में कुल 16 उम्मीदवार हैं, जिसमें से 7 उम्मीदवार मुस्लिम हैं। माना जा रहा है कि ये 7 मुस्लिम उम्मीदवार उत्तर प्रदेश में I.N.D.I.A गठबंधन के दलों को नुकसान पहुंचा सकते हैं। सहारपुर से माजिद अली, मुरादाबाद से मोहम्मद इरफान सैफी, रामपुर से जीशान खां, सम्भल से शौलत अली, अमरोहा से मुजाहिद हुसैन, आंवला से आबिद अली और पीलीभीत से पार्टी ने अनीस अहमद खां उर्फ फूलबाबू को चुनावी मैदान में उतारा है।
किस जिले में कितनी मुस्लिम आबादी
बता दें कि रामपुर में 50 फीसदी से अधिक आबादी मुस्लिम है। मुरादाबाद में 47.12, संभल में 45 फीसदी, सहारनपुर में 42 फीसदी, अमरोहा में करीब 38 फीसदी मुस्लिम वोटर हैं। वहीं अन्य 2 जिलों में भी मुस्लिम आबादी अच्छी संख्या में है। I.N.D.I.A गठबंधन के दल कांग्रेस ने सहारनपुर से इमरान मसूद को उतारा है। मुरादाबाद से समाजवादी पार्टी ने एसटी हसन को अपना उम्मीदवार बनाया है। समाजवादी पार्टी ने रामपुर से उम्मीदवार का नाम अब तक ऐलान नहीं किया गया है। हालांकि ऐसा माना जा रहा है कि सपा की तरफ से इस सीट पर किसी मुस्लिम उम्मीदवार को ही उतारा जाएगा।
बसपा की पहली लिस्ट
क्या I.N.D.I.A गठबंधन को होगा नुकसान ?
संभल से समाजवादी पार्टी ने जिया उर रहमान वर्क को उतारा है। अमरोहा से कांग्रेस ने दानिश अली को अपना उम्मीदवार बनाया है। आंवला से बसपा ने आबिद अली को उतारा है। पीलीभीत से समाजवादी पार्टी ने भगवत सिंह गंगवार को उतारा है। बता दें कि पश्चिमी उत्तर प्रधेश में मुस्लिम वोट के साथ दलित और जाट वोट है, लेकिन यादव वोट नहीं है। जयंत चौधरी एनडीए गठबंधन के साथ हैं। ऐसे में अखिलेश यादव और कांग्रेस की निगाहें मुस्लिम वोटरों पर है। लेकिन मायावती द्वारा 7 मुस्लिम उम्मीदवारों को उतारे जाने के बाद इस बात का खतरा बढ़ गया है कि I.N.D.I.A गठबंधन के घटक दलों यानी कांग्रेस और समाजवादी पार्टी को इन सीटों पर नुकसान झेलना पड़ सकता है।
बदायूं हत्याकांड: उत्तर प्रदेश के बदायूं में दो बच्चों की निर्मम हत्या की वजह का खुलासा अब तक नहीं हो पाया है। इससे नाराज मृतक नाबालिग बच्चों के पिता विनोद कुमार ने आत्मदाह की कोशिश की। आत्महत्या की कोशिश कर रहे विनोद कुमार को पुलिस ने समय रहते बचा लिया। रिपोर्ट्स के मुताबिक, विनोद कुमार ने कहा कि वह परेशान हैं, क्योंकि पुलिस उनके बेटों की हत्या के पीछे के मकसद का पता लगाने में नाकाम रही है।
वहीं, पुलिस साजिद के भाई जावेद को गुरुवार को बरेली से गिरफ्तार किया। वह बदायूं दोहरे हत्याकांड का दूसरा आरोपी है। साजिद ने हाल ही में इलाके में नाई की दुकान खोली थी। उसने तीन भाइयों आयुष (12), हनी (8) और पीयूष (10) पर चाकू से हमला किया। हमले में आयुष और अहान की मौत हो गई, जबकि पीयूष को गंभीर घावों के साथ अस्पताल ले जाया गया।
मेरे बच्चों को क्यों मारा – पिता विनोद कुमार
उन्होंने कहा, ”मुझे आरोपी के एनकाउंटर या दूसरे आरोपी की गिरफ्तारी से कोई मतलब नहीं है। मैं बस यह जानना चाहता हूं कि मेरे बच्चों को क्यों मारा गया।” पुलिस विनोद कुमार को समझाने की कोशिश कर रही है। बता दें कि 19 मार्च को साजिद ने विनोद कुमार के दो नाबालिग बच्चों की बेरहमी से हत्या कर दी थी। पुलिस ने मुख्य आरोपी साजिद को मंगलवार को घटना के दो घंटे के भीतर एनकाउंटर में मार गिराया था।
असम के सीएम हिमंत बिस्व शर्मा ने कहा है कि बांग्ला-भाषी मुसलमानों को तभी राज्य का मूल निवासी ‘खिलोंजिया’ माना जाएगा, जब वे बाल-विवाह और बहुविवाह जैसी प्रथाओं को छोड़ देंग। सीएम हिमंत बिस्व शर्मा ने इससे पहले राज्य के बांग्ला-भाषी मुस्लिम समुदाय को सामाजिक कुरीतियों के लिए जिम्मेदार बताया था। इस समुदाय में अधिकतर बांग्लादेश से संबंध रखने वाले हैं।
सीएम हिमंत बिस्व शर्मा ने कहा कि मियां (बांग्ला-भाषी मुसलमान) मूल निवासी हैं या नहीं यह एक अलग मामला है। हम यह कह रहे हैं कि अगर वे ‘मूल निवासी’ बनना चाहते हैं, तो हमें कोई समस्या नहीं है लेकिन इसके लिए उन्हें बाल विवाह और बहुविवाह को छोड़कर महिलाओं को शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करना होगा।
सीएम हिमंत बिस्व शर्मा ने कहा कि असमिया लोगों की एक संस्कृति है जिसमें लड़कियों की तुलना ‘शक्ति’ (देवी) से की जाती है और दो-तीन बार शादी करना असमिया संस्कृति नहीं है। उन्होंने कहा, ‘मैं उनसे हमेशा कहता हूं, ‘मियां’ के स्वदेशी होने में कोई समस्या नहीं है लेकिन वे दो-तीन पत्नियां नहीं रख सकते है।
यह असमिया संस्कृति नहीं है, कोई सत्र (वैष्णव मठ) भूमि का अतिक्रमण कर मूल निवासी कैसे बनना चाहता है ? वही मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व शर्मा ने कहा कि अगर बांग्ला भाषी मुसलमान असमिया रीति-रिवाजों का पालन कर सकते हैं, तो उन्हें भी ‘स्वदेशी’ मान लिया जाएगा।
अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। उनके विरोध-प्रदर्शन को देखते हुए दिल्ली पुलिस भी बेहद सतर्क है। पुलिस ने कई रास्ते भी बंद किए हुए हैं। कई जगहों पर धारा – 144 लगाई गई है। दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी, सौरभ समेत कुछ नेता एक गाड़ी से कहीं जा रहे थे। इस दौरान दिल्ली पुलिस के एक अधिकरी ने उनकी गाड़ी रोक दी।
इसके बाद पुलिस और नेताओं में बहस शुरू हो गई। बता दे कि इस बीच आम आदमी पार्टी राष्ट्रीय स्तर पर विरोध प्रदर्शन करने की तैयारी कर रही है। पार्टी ने ऐलान किया है कि इस बार वह होली नहीं मनाएंगे। इसी बीच शनिवार दोपहर दिल्ली के सबसे बिजी चौराहे आईटीओ पर आप नेताओं और दिल्ली पुलिस के बीच एक झड़प देखने को मिली।
गाड़ी से घर जा रहे थे आप नेता
वीडियो में दिख रहा है कि दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी, सौरभ भारद्वाज, दुर्गेश पाठक और आदिल खान एक गाड़ी से कहीं जा रहे थे। इस दौरान दिल्ली पुलिस के एक अधिकारी ने उनकी गाड़ी रोक दी। इसके बाद पुलिस और आप नेताओं में बहस शुरू हो गई। पुलिस अधिकारी कहते हैं कि आपको आगे नहीं जाने दे सकते हैं। इस पर आतिशी कहती हैं कि वह अपने घर जा रही हैं। इसके बाद अन्य नेता गाड़ी से उतरकर सड़क पर लेट जाते हैं और कहते हैं कि आप हमें गोली मार दीजिये।
दिल्ली पुलिस पर मंत्री आतिशी ने लगाए आरोप
इसके साथ ही आतिशी आरोप लगाती हैं कि दिल्ली पुलिस ने उनकी पार्टी कार्यालय के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। देश में लोकसभा चुनाव होने हैं और उनका कार्यालय ही बंद कर दिया गया है। बता दें कि आम आमदी पार्टी का कार्यालय दीन दयाल उपाध्याय मार्ग पर है। इसी मार्ग पर भारतीय जनता पार्टी का भी ऑफिस है। शुक्रवार को सुरक्षा के लिहाज से पुलिस ने इस मार्ग पर जाने के सभी रास्ते बंद कर दिए थे। आम आदमी पार्टी के नेता इस बात का विरोध कर रहे हैं।
चुनाव आयोग से की जाएगी शिकायत
दिल्ली के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाया कि केंद्रीय गृह मंत्रालय के तहत आने वाली दिल्ली पुलिस आप नेताओं को उनके आधिकारिक आवासों में जाने से भी रोक रही है। सौरभ भारद्वाज ने कहा, “आपने हमें पार्टी कार्यालय में जाने से रोक दिया है। आप चुनाव कैसे लड़ेगी ? किस कानून के तहत पुलिस को हमें नियंत्रित करने का अधिकार है ? भारद्वाज ने कहा कि आम आदमी पार्टी ने चुनाव आयोग से हस्तक्षेप की मांग की है। उन्होंने कहा, ”हमने चुनाव आयोग से समय मांगा है। हम चाहेंगे कि चुनाव आयोग इस मामले पर एक तटस्थ एजेंसी के रूप में कार्रवाई करे।
यूपी से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने यूपी बोर्ड आफ मदरसा एजुकेशन एक्ट 2004 को असंवैधानिक करार दिया है। कोर्ट ने कहा यह एक्ट धर्म निरपेक्षता के सिद्धांत के खिलाफ है। साथ ही कोर्ट ने यूपी सरकार को निर्देश दिया कि मदरसे में पढ़ने वाले छात्रों को यूपी बोर्ड के तहत बुनियादी शिक्षा व्यवस्था में शामिल किया जाए। जानकारी दे दें कि अंशुमान सिंह राठौड़ ने इस संबंध में एक याचिका दायर की थी।
वहीं, उत्तर प्रदेश मदरसा बोर्ड पर हाईकोर्ट के फैसले पर ऑल इंडिया शिया पर्सनल लॉ बोर्ड के जनरल सेक्रेटरी शिया धर्मगुरु हज़रत मौलाना यासूब अब्बास का बयान जारी कर योगी सरकार से अपील की इसे क़ानून बनाकर मदरसा बोर्ड को फिर से ज़िंदा करें।
मदरसा एक्ट धर्मनिरपेक्षता के सिद्धांत का उल्लंघन
इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने आगे कहा कि हम मानते हैं कि मदरसा अधिनियम, 2004, धर्मनिरपेक्षता के सिद्धांत का उल्लंघन है, जो भारत के संविधान की मूल संरचना का एक हिस्सा है, साथ ही अनुच्छेद 14, 21 और 21-ए और भारत के संविधान और विश्वविद्यालय अनुदान आयोग अधिनियम, 1956 की धारा 22 का उल्लंघन है। ऐसे में मदरसा एक्ट, 2004 को असंवैधानिक घोषित किया जाता है।
यूपी बोर्ड के तहत मदरसा छात्रों को करें समायोजित
हाईकोर्ट के जस्टिस विवेक चौधरी और जस्टिस सुभाष विद्यार्थी ने कहा कि यूपी राज्य में बड़ी संख्या में मदरसे और मदरसे के छात्र हैं, इसलिए राज्य सरकार को निर्देश दिया जाता है कि वह इन मदरसा छात्रों को प्राथमिक शिक्षा बोर्ड के तहत मान्यता प्राप्त नियमित स्कूलों और हाई स्कूल और इंटरमीडिएट शिक्षा बोर्ड के तहत मान्यता प्राप्त स्कूलों में समायोजित करने के लिए तुरंत कदम उठाए और साथ ही राज्य सरकार यह भी सुनिश्चित करे कि आवश्यकता के अनुसार पर्याप्त संख्या में अतिरिक्त सीटें बनाई जाएं और यदि आवश्यक हो तो पर्याप्त संख्या में नए स्कूल स्थापित किए जाएं। कोशिश करें कि 6 से 14 वर्ष की आयु के बच्चे राज्य की मान्यता प्राप्त संस्थानों में एडमिशन के बिना न रहें।
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी की गिरफ्त में हैं। ऐसे में आम आदमी पार्टी के नेताओं ने देशव्यापी विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया है। इसी कड़ी में दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। ऐस में एक तरफ जहां सुप्रीम कोर्ट तक यह मामला पहुंच गया है। वहीं दूसरी तरफ दिल्ली पुलिस ने दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी और सौरभ भारद्वाज को हिरासत में ले लिया है।
पुलिस द्वारा हिरासत में लिए जाने के बाद सौरभ भारद्वाज ने कहा कि पूरी गुंडागर्दी है। अरविंद केजरीवाल को घरवालों को हाउस अरेस्ट किया गया है। उनकी मां एक दिन पहले अस्पताल से आईं थीं। उनके बेटे को गिरफ्तार कर लिया गया है। घरवालों को किसी से मिलने नहीं दिया जा रहा है। शांतिपूर्ण तरीके से हो रहे विरोध प्रदर्शन को रोका जा रहा है। आईटीओ पर हम जा नहीं सकते। एक मिनट हुआ आईटीओ पर आए हुए, लेकिन पुलिस वाले हमें फेंक रहे हैं।
केंद्र सरकार कर रही तानाशाही
उन्होंने कहा कि पूरी तनाशाही है। केवल लोकसभा चुनाव जीतने के लिए तानाशाही की जा रही है। जहां भी लोग होंगे वहां विरोध प्रदर्शन होंगे। ये प्रदर्शन रुकेगा नहीं। कभी भी दमन करने से क्रांति नहीं रुकती। प्रधानमंत्री जितना भी दमन करेंगे उतना ही प्रदर्शन होगा। एक एक गली में एक-एक मोहल्ले में केजरीवाल पैदा होंगे। दुनिया में नंबर 1 ट्रेंड आई स्टैंड विथ केजरीवाल चल रहा है। आज लोग व्यथित हैं कि किस तरीके से केंद्र सरकार गुंडागर्दी करके कुचलना चाहती है। हमारी पार्टी को सुपारी जितनी पार्टी बताया जाता था। आज उसी पार्टी का दमन करने के लिए केंद्र सरकार गुंडागर्दी कर रही है।
अधिकारिक काम करने की इजाजत हो – सौरभ भारद्वाज
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि कोर्ट में हम तीन बाते रखेंगे। अरविंद केजरीवाल को उनके परिवार से मिलने की इजाजत हो, उनके वकील से मिलने की इजाजत हो और उन्हें अपने अधिकारिक काम करने की इजाजत हो। पूरे परिवार को हाउस अरेस्ट किया गया है। किसी से उनके परिवार को मिलने नहीं दिया जा रहा है। ये पूरी तरह से गुंडागर्दी है। बता दें कि यह मामला सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया है, जहां अरविंद केजरीवाल का पक्ष अभिषेक मनु सिंघवी कोर्ट में रखेंगे। बता दें कि अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद लगातार विरोध प्रदर्शन बढ़ता ही जा रहा है।
लोकसभा चुनाव से पहले पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी (JAP) का आज कांग्रेस में विलय हो गया है। बिहार में अब इंडी अलायंस को एक नया मेंबर मिल गया है। पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी का कांग्रेस में विलय हो गया है। दिल्ली में जन अधिकारी पार्टी के चीफ पप्पू यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। बता दें कि पप्पू यादव की पत्नी रंजीत रंजन पहले से ही कांग्रेस से राज्यसभा सांसद हैं और अब पप्पू यादव की भी एंट्री हो गई है।
बता दें कि कल ही पप्पू यादव ने राबड़ी देवी के घर पर लालू और तेजस्वी यादव से मुलाकात की थी। जिसके बाद से ही उनकी पार्टी के विलय की चर्चा तेज हो गई थी। कांग्रेस में विलय के बाद इंडी अलायंस की तरफ से पप्पू यादव को पूर्णिया सीट से लोकसभा का टिकट दिया जाएगा। कुछ ही दिन पहले पप्पू यादव ने रैली में कहा था कि अगर कांग्रेस उन्हें पूर्णिया से टिकट देगी तो वो अपनी पार्टी का कांग्रेस में विलय कर देंगे।
भाजपा को लोक जनशक्ति पार्टी का समर्थन
फिलहाल, भाजपा को लोक जनशक्ति पार्टी के संस्थापक राम विलास पासवान के बेटे चिराग और भाई पशुपति कुमार पारस की अध्यक्षता वाले प्रतिद्वंद्वी खेमों का समर्थन भी प्राप्त है। कांग्रेस-राष्ट्रीय जनता दल के ‘महागठबंधन’ ने ढाई साल पहले हुए विधानसभा चुनावों से पूर्व भाकपा (माले) लिबरेशन के साथ गठजोड़ बनाया था और उसने मजबूत नजर आ रहे राजग को कड़ी चुनौती दी थी। लगभग दो महीने पहले नीतीश कुमार की अचानक राजग में वापसी से बनी स्थिति से पार पाने के लिए महागठबंधन 2020 में अपने उम्मीद से बेहतर प्रदर्शन को दोहराने की कोशिश करेगा। बता दें कि बिहार में लोकसभा चुनाव के लिए मतदान 19 अप्रैल से एक जून के बीच सात चरणों में होगा
बीजेपी के खिलाफ हल्ला बोलेंगे – पप्पू यादव
इससे पहले पप्पू यादव ने पत्रकारों के साथ बातचीत के दौरान कहा था कि वो तेजस्वी यादव के साथ मिलकर बीजेपी के खिलाफ हल्ला बोलेंगे। बता दें कि मंगलवार की रात पप्पू यादव ने आरजेडी प्रमुख लालू यादव और तेजस्वी यादव से मुलाक़ात की थी। पप्पू यादव 2014 में आरजेडी के टिकट से मधेपुरा से चुनाव जीत चुके हैं। बता दें कि बिहार में सत्तारूढ़ एनडीए की ‘महागठबंधन’ के साथ सीधी लड़ाई नजर आ रही है, जिसे उसने (राजग ने) पांच साल पहले तब हराया था, जब बीजेपी के तृत्व वाले गठबंधन के कम से कम दो घटक विपक्षी गठबंधन के साथ थे। राजग में इस बार भाजपा के साथ जीतन राम मांझी और उपेंद्र कुशवाहा के साथ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हैं।
यूपी में का बा’ गाकर फेमस हुईं बिहार की लोकगायिका नेहा सिंह राठौर के चुनावी राजनीति में उतरने की अटकलें हैं। चर्चा यह भी है कि कांग्रेस उन्हें भोजपुरी के ही सुपरस्टार मनोज तिवारी के खिलाफ लड़ाने जा रही है। कई दिनों से चल रही अटकलों के बाद अब खुद नेहा सिंह राठौर ने ऐसे संकेत दिए हैं जिससे दिल्ली की नॉर्थ ईस्ट लोकसभा सीट पर अब दो भोजपुरी कलाकारों के बीच मुकाबला तय माना जा रहा है। मनोज तिवारी इस सीट से लगातार दो बार जीत दर्ज कर चुके हैं और भाजपा ने उन्हें तीसरी बार टिकट दिया है। वह दिल्ली एकमात्र ऐसे सांसद हैं जिनपर भाजपा ने एक बार फिर दांव लगाया है। अन्य सभी छह सांसदों के टिकट काट दिए गए हैं।
मुझे अच्छा अच्छा लग रहा – नेहा सिंह राठौर
आपको बता दे कि नेहा सिंह राठौर ने बातचीत के दौरान कहा मनोज तिवारी के खिलाफ उतारे जाने की चर्चाओं पर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने इन्हें खारिज नहीं किया, बल्कि कई ऐसी बातें कहीं जिन्हें उनकी संभावित उम्मीदवारी का संकेत माना जा रहा है। मुझे नहीं पता कि कांग्रेस की तरफ से मुझे टिकट मिलेगा या नहीं, ना मैं इसको लेकर बहुत व्याकुल हूं। मुझे मीडिया से ही पता चला है कि कांग्रेस से टिकट मिल रहा है मनोज तिवारी के खिलाफ, जिससे मुझे अच्छा अच्छा लग रहा है। सकारात्मक वजहों से चर्चा में हूं। अच्छा लग रहा है।
नेहा सिंह राठौर ने कहा………..
नेहा सिंह राठौर ने कहा मेरे लिए बहुत बड़ी बात है कि मेरे लिए विचार किया जा रहा है। मैं जहां से आती हूं, वो बहुत साधारण सा किसान का परिवार है और गांव देहात की लड़की हूं। बिहार के एक छोटे से गांव की लड़की हूं। मेरे बारे में यदि कोई पार्टी विचार कर रही है तो यही मेरे लिए बड़ी बात है कि मुझे उस योग्य समझा जा रहा है। कोई भी पार्टी यदि मेरे बारे में ऐसा विचार करती है तो मैं जरूर विचार करूंगी कि क्या आगे किया जा सकता है। जो बात मैं गीत के माध्यम से अब तक कहती आ रही हूं मंहगाई, बेरोजगारी, शिक्षा, महिलाओं की बात, मौका मिला तो वह बात हम संसद से भी कहना पसंद करेंगे।
भाजपा ने बिहार, यूपी और तमिलनाडु समेत कई बड़े राज्यों में सहयोगी दलों के साथ सीटों का बंटवारा कर लिया है। लेकिन अब तक 48 सीटों वाले महाराष्ट्र में समझौता नहीं हो पाया। इस बीच महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के नेता राज ठाकरे भी दिल्ली पहुंच गए हैं और यहां वह भाजपा के शीर्ष नेताओं से मुलाकात करने वाले हैं। भाजपा सूत्रों का कहना है कि राज ठाकरे को साथ लाकर दक्षिण मुंबई की सीट को साधने की तैयारी है। इस सीट से अरविंद सावंत लगातार सांसद चुने जाते रहे हैं। उनकी एक मराठा नेता की इमेज है और उनके मुकाबले भाजपा के पास कोई बेहतर कैंडिडेट नहीं दिखता।
उन्होंने 2019 के आम चुनाव में मिलिंद देवड़ा को हराकर जीत हासिल की थी। इसके अलावा 2014 में भी वह जीते थे। अब मिलिंद देवड़ा कांग्रेस छोड़कर एकनाथ शिंदे खेमे की शिवसेना में चले गए हैं। भाजपा की कोशिश है कि दक्षिण मुंबई सीट गठबंधन में उसे मिल जाए और वहां से किसी मजबूत मराठा नेता को उतारा जाए। दक्षिण मुंबई वह क्षेत्र है, जहां राज ठाकरे का भी प्रभाव है। ऐसे में यह सीट उन्हें ही मिल सकती है और उनकी पार्टी के नेता बाला नंदगांवकर चुनाव लड़ सकते हैं। बाला नंदगांवकर की छवि एक मजबूत मराठा नेता की है।
उद्धव ठाकरे के प्रभाव वाले क्षेत्र में बनेगा दबाव
इसके अलावा पूरे मुंबई और आसपास के इलाके में भाजपा को ताकत मिलेगी। इसकी वजह यह है कि मनसे का भी एक प्रभाव क्षेत्र रहा है। 2009 के लोकसभा चुनाव और विधानसभा चुनाव में तो एमएनएस के करीब 5.5 फीसदी वोट आए थे। 2014 के बाद से यह कम होता दिखा है, लेकिन इसकी वजह भाजपा की उभरती शक्ति है। लेकिन अब जो वोट बैंक बचा भी है, वह यदि भाजपा के साथ आता है तो एक और एक ग्यारह जैसी स्थिति होगी। इसके अलावा भाजपा की रणनीति यह भी है कि अजित पवार और एकनाथ शिंदे गुट पर भी दबाव बनाकर रखा जाए। यही नहीं उद्धव ठाकरे के प्रभाव वाले क्षेत्र से महाराष्ट्र नवनिर्माण को मौका देकर उन पर भी दबाव बनाने की कोशिश होगी।
राज ठाकरे की अमित शाह से होगी मुलाकात
भाजपा सूत्रों का तो कहना है कि राज ठाकरे की अमित शाह से मुलाकात होगी। इस मीटिंग में देवेंद्र फडणवीस भी मौजूद होंगे। इसी दौरान समझौता हो सकता है। बता दें कि राज ठाकरे भी बीते कई सालों से लगातार राजनीतिक नेपथ्य में हैं। उनका एक वोट बैंक तो है, लेकिन अकेले दम पर वह कोई चुनाव जीतने की स्थिति में नहीं हैं। ऐसे में यदि एक सीट भी भाजपा के साथ जाने पर मिलती है तो महाराष्ट्र नवनिर्माण के लिए बड़ी सफलता होगी।
दिल्ली शराब घोटाला मामले में ईडी की टीम ने बीते दिनों तेलंगाना की बी आर एस नेता के कविता को गिरफ्तार कर लिया है। उन्हें एक हफ्ते की रिमांड पर भेज दिया गया है। इस बीच तिहाड़ जेल में बंद महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने पत्र लिखकर बी आर एस नेता के कविता पर निशाना साधा है। सुकेश चंद्रशेखर ने अपने पत्र में दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल पर भी बड़ा हमला करते हुए कहा है कि केजरीवाल भी जल्द तिहाड़ जेल आएंगे। आइए जानते हैं कि महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने इस बारे में और क्या-क्या कहा है।
सच्चाई की जीत हुई है
महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने अपने पत्र में बी आर एस नेता के कविता पर निशाना साधते हुए लिखा है कि सच्चाई की जीत हुई है, फर्जी मामले, फर्जी आरोप कहने का नाटक विफल हो गया है। आपके सभी कर्म आपके पास वापस आ रहे हैं। अब आपको सत्य की शक्ति का सामना करना है। महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने बी आर एस के. कविता से कहा कि आपने हमेशा सोचा कि आप अजेय हैं लेकिन आप इस नए भारत को भूल गए। कानून पहले से कहीं ज्यादा मजबूत और शक्तिशाली है। महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने कहा कि बीते 1 साल में बीआरएस तेलंगाना की सत्ता से बाहर हो गई है और के कविता की गिरफ्तारी व तिहाड़ क्लब का हिस्सा बनने के लिए उल्टी गिनती भी शुरू हो गई है।
अरविन्द केजरीवाल भी बेनकाब होने जा रहे- सुकेश चंद्रशेखर
महा ठग सुकेश चंद्रशेखर ने अपने पत्र में लिखा है कि के कविता की गिरफ्तारी के बाद दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल भी बेनकाब होने जा रहे हैं। सुकेश ने कविता को सलाह देते हुए कहा कि आपको एक ईमानदारी की सलाह है ये है कि अब भी सब कुछ छिपाने और इस घोटाले के सरगना और गॉडफादर अरविंद केजरीवाल को बचाने की कोशिश करने से कोई फायदा नहीं है। अब आपके सारे भ्रष्टाचार को साबित करने के लिए पर्याप्त सबूत हैं। सुकेश ने कहा कि वह कविता का सबसे महान तिहाड़ क्लब में आपका स्वागत करता हूं।
झूठ और नाटक का क्लाइमैक्स है- सुकेश चंद्रशेखर
सुकेश चंद्रशेखर ने अपने पत्र में आरोप लगाया है कि के कविता के तिहाड़ में लंबे प्रवास के लिए केजरीवाल ने सब कुछ व्यवस्थित किया है। सुकेश ने आगे कहा- मेरे प्रिय केजरीवाल जी, अगले आप हैं, चाहे आप कितनी भी कोशिश कर लें, अब सब खत्म हो गया है। अब यहाँ आपके सभी झूठ और नाटक का क्लाइमैक्स है। अब अपने सभी भाइयों और बहनों के पास अपने ही तिहाड़ क्लब में आएं, मेरे प्यारे केजरीवाल जी।”
लोकसभा के लिए निर्वाचन आयोग (ईसी) ने चुनाव कार्यक्रम का ऐलान कर दिया है। इसके साथ ही देशभर में आदर्श आचार संहिता भी लागू हो गई। चुनाव आयोग ने सात चरणों में लोकसभा चुनाव कराने का ऐलान किया। 19 अप्रैल से शुरू होने वाले लोकसभा चुनाव में आखिरी फेज की वोटिंग एक जून को होगी। वहीं 4 जून को नतीजे आएंगे। आयोग कुछ राज्यों में विधानसभा चुनाव कार्यक्रम और खाली हुई उपचुनाव की सीटों पर भी चुनावों का ऐलान किया है।
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने कहा, “यह हम लोगों के लिए ऐतिहासिक क्षण है। 2024 दुनिया के लिए भी चुनावों का साल है। दुनिया के सबसे बड़े और सबसे जीवंत लोकतंत्र के रूप में भारत पर सभी का ध्यान केंद्रित रहता है। लोकतंत्र के रंग यहां उभरते हैं और सभी हिस्सों का इसमें समावेश होता है। हमारा वादा है कि हम चुनाव इस तरह कराएंगे जो देश की चमक को बढ़ाएगा। 17वीं लोकसभा का कार्यकाल 16 जून को खत्म हो रहा है। जम्मू-कश्मीर में भी विधानसभा चुनाव होना बाकी हैं।
— Election Commission of India (@ECISVEEP) March 16, 2024
मुख्य चुनाव आयुक्त बताई मतदाताओं की कुल संख्या
हमने पिछले एक साल में नए वोटरों को जोड़ने पर बहुत मेहनत की है। इस बार 18 से 19 वर्ष के 1.8 करोड़ मतदाता होंगे। 20 से 29 साल उम्र के 19.74 करोड़ मतदाता होंगे। 82 लाख मतदाता ऐसे हैं, जिनकी उम्र 85 साल से ज्यादा है। हमारे पास 97 करोड़ मतदाता हैं। यह संख्या अमेरिका, यूरोप, ऑस्ट्रेलिया के कुल मतदाताओं से कहीं ज्यादा है। हमारे पास 10.5 लाख मतदान केंद्र हैं, जिनकी जिम्मेदारी डेढ़ करोड़ लोगों के पास होती है। 55 लाख ईवीएम हैं। चुनाव आयोग अब तक 17 आम चुनाव और 400 से ज्यादा विधानसभा चुनाव करा चुका है। पिछले 11 चुनाव शांतिपूर्ण रहे हैं। अदालती मुकदमे भी कम हुए हैं।
— Election Commission of India (@ECISVEEP) March 16, 2024
16 जून को खत्म हो रहा है 17वीं लोकसभा का कार्यकाल
17वीं लोकसभा का कार्यकाल 16 जून 2014 को खत्म होने वाला है। उससे पहले नई सरकार का गठन कर लिया जाना है। देश में लोकसभा की कुल 543 सीटें हैं और किसी भी पार्टी या गठबंधन को सरकार बनाने के लिए 272 सीटों के बहुमत की जरूरत होती है। साल 2019 के लोकसभा चुनाव की बात करें तो 11 अप्रैल से 19 मई के बीच 7 चरणों में मतदान हुए थे और 23 मई को परिणामों की घोषणा की गई थी।
— Election Commission of India (@ECISVEEP) March 16, 2024
लोकसभा चुनाव में चुनौतियों से निपटना होगा
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने कि देश भर में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव के लिए कड़े इंतजाम किये गये हैं। उन्होंने कहा कि चुनाव में हर हाल में हिंसा को रोकना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि हमारे सामने चार प्रकार की चुनौतियां हैं, मसल्स, मनी, मिस इंफॉर्मेशन और एमसीसी यानी मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट, इनसे निपटने की व्यवस्था की गई है। मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने बताया कि चुनाव में धन बल पर कड़ी निगाह होगी। सीमावर्ती क्षेत्रों में ड्रोन से नजर रखी जाएगी।
— Election Commission of India (@ECISVEEP) March 16, 2024
नए मतदाताओं में 85 लाख महिलाएं
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने कहा कि महिला मतदाताओं को जोड़ने में भी हमने मेहनत की है। देश के 12 राज्य ऐसे हैं, जहां महिला वोटरों की संख्या पुरुष मतदाताओं से ज्यादा हो गई है। इस बार 18 से 19 वर्ष के 1.8 करोड़ मतदाताओं में 85 लाख तो महिला मतदाता हैं। 17 से ज्यादा उम्र के 13.4 लाख नए मतदाताओं की अग्रिम अर्जियां हमारे पास आ चुकी हैं। ये ऐसे वोटर होंगे, जो 1 अप्रैल को 18 साल की उम्र पूरी कर लेंगे।
— Election Commission of India (@ECISVEEP) March 16, 2024
नेताओं का बाहुबल-धनबल काम नहीं आएगा
मुख्य चुनाव आयुक्त ने कहा कि चुनाव में हिंसा कोई स्थान नहीं होना चाहिए। इस बार नया प्रयोग किया जा रहा है। जो भी हमें सख्ती से करना होगा, हम करेंगे। हर जिले में एक कंट्रोल रूम बनाया जा रहा है। वहां टीवी, सोशल मीडिया, वेब कास्टिंग, 1950 हेल्पलाइन और शिकायत पोर्टल होगा। इस पर निगरानी के लिए हर जिले के ऐसे कंट्रोल रूम में एक अधिकारी नियुक्त किया जाएगा। जहां भी शिकायत मिलेगी, वहां सख्त कार्रवाई होगी। जिन लोगों के पास गैर जमानती वॉरंट हैं और जो हिस्ट्रीशीटर्स हैं, उन पर देशभर में कार्रवाई की जा रही है।
जो लोग तीन साल से किसी एक जिले में पदस्थ हैं, उन्हें बदलने को कहा गया है। जहां भी वॉलंटियर और अनुबंध पर लोग काम कर रहे हैं, उन्हें चुनाव ड्यूटी में नहीं लगाया जाएगा। कुछ राज्यों में धन का उपयोग ज्यादा है। हम इससे भी निपट रहे हैं। पिछले 11 चुनाव में 3,400 करोड़ रुपये की नकदी के गैरकानूनी इस्तेमाल को रोका गया है।
2017-18 के मुकाबले 2022-23 में ऐसे धन की जब्ती में 835 फीसदी का इजाफा हुआ है। शराब, कैश, कुकर, साड़ी बांटने जैसे तरीकों को रोकने के सख्त निर्देश दिए गए हैं। बैंक भी यह देखेंगे कि कहीं अचानक से नकदी की मांग में इजाफा तो नहीं हो रहा।
हो सकता है कि आज लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों का ऐलान होने वाला है। दोपहर तीन बजे चुनाव आयोग प्रेस कॉन्फ्रेंस करेगा जिसमें चुनाव की तारीखों की घोषणा की जाएगी। खबर है कि इस बार लोकसभा चुनाव सात से आठ चरण में हो सकते हैं। लोकसभा के साथ-साथ ओडिशा, सिक्किम, अरुणाचल प्रदेश और आंध्र प्रदेश के विधानसभा के भी चुनाव कराए जाएंगे तो आज इन चुनावों की तारीखों का भी ऐलान होगा। पिछली बार अप्रैल-मई में चुनाव हुए थे, इस बार भी इसी दौरान चुनाव होंगे।
2024 लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान होने के बाद आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी जिसका मतलब चुनाव आयोग के वो निर्देश जिनका पालन चुनाव खत्म होने तक हर चुनाव लड़ने वाली पार्टी को करना होता है। चुनाव की तारीखों के ऐलान के साथ ही वहां चुनाव आचार संहिता भी लागू हो जाती हैं। चाहे केंद्र सरकार हो या राज्य सरकारें, सभी चुनाव आचार संहिता के दायरे में आती हैं।
क्या होती है आदर्श आचार संहिता ?
जब भी चुनाव आयोग की ओर से चुनाव का आयोजन किया जाता है, तो इससे पहले से ही आदर्श चुनाव संहिता को लागू किया जाता है, जिसकी मदद से चुनाव पूरी तरह से निष्पक्ष और स्वतंत्र रूप से हो सके। इसके तहत कुछ नियमों को तय किया जाता है, जिसका चुनावी प्रक्रिया के दौरान संबंधित राजनीतिक पार्टियों को पालन करना होता है। चुनाव आचार संहिता को चुनाव की तारीख की घोषणा के साथ ही लागू कर दिया जाता है और यह चुनाव समापन तक जारी रहती है।
चुनाव आचार संहिता का पालन नहीं करने पर क्या होता है ?
यदि कोई राजनीतिक दल या फिर राजनीतिक दल का कोई प्रत्याशी आदर्श आचार संहिता का पालन नहीं करता है, तो उस पर चुनाव आयोग की ओर से कार्रवाई की जाती है। उदाहरण के तौर पर उम्मीदवार को चुनाव लड़ने से रोका जा सकता है। यदि जरूरत पड़े तो आपराधिक मुकदमा भी दर्ज हो सकता है, वहीं नियमों के उल्लंघन पर जेल भी जाना पड़ सकता है।
CEC Rajiv Kumar will address the Press Conference on General Elections 2024 together with EC's Gyanesh Kumar and Sukhbir Singh Sandhu on 16th March, 2024 (3 PM).